ऑपरेशन सिंदूर के बाद Defence सेक्टर में उछाल
Pahalgam आतंकी हमले के जवाब में शुरू हुए Operation Sindoor के बाद भारतीय शेयर बाजार में ड्रोन और डिफेंस सेक्टर से जुड़ी कंपनियों के शेयरों ने तेज़ी से उड़ान भरी है।
7 मई से 20 मई के बीच कुल 9 ट्रेडिंग सेशंस में कई कंपनियों के शेयरों ने 8% से 50% तक की बढ़त दर्ज की है।
तेजी का नेतृत्व करने वाली कंपनियाँ
-
IdeaForge Technology
-
Paras Defence
-
Zen Technologies
-
Hindustan Aeronautics Ltd (HAL)
-
Bharat Electronics Ltd (BEL)
-
DCM Shriram Industries
इन कंपनियों ने हाल ही की घटनाओं के चलते भारी निवेशकों की रुचि आकर्षित की है, खासकर ड्रोन टेक्नोलॉजी और उच्च तकनीक वाले रक्षा उपकरणों की बढ़ती मांग के कारण।
हाई-टेक डिफेंस इक्विपमेंट की बढ़ती मांग
Market experts का कहना है कि ये तेजी सिर्फ एक शॉर्ट टर्म रिएक्शन नहीं है, बल्कि एक नए युग की युद्ध रणनीति की ओर संकेत करती है, जिसमें ड्रोन, एआई और इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर अहम भूमिका निभा रहे हैं।
DSP Mutual Fund के Head of Equities विनीत सांब्रे के अनुसार:
“इस तेजी के पीछे मजबूत ऑर्डर बुक की उम्मीद और नए डिफेंस प्रोजेक्ट्स की घोषणाएं जिम्मेदार हैं, हालांकि लंबे एक्सीक्यूशन साइकिल और ग्लोबल अनिश्चितता को नजरअंदाज़ नहीं किया जा सकता।”
स्वदेशी डिफेंस टेक्नोलॉजी का बढ़ता वर्चस्व
पिछले कुछ वर्षों में भारत के डिफेंस सेक्टर ने जबरदस्त प्रगति की है। चाहे बात हो ड्रोन वॉरफेयर, लेयर्ड एयर डिफेंस या इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर की — आज स्वदेशी तकनीकें हर क्षेत्र में प्रभावी भूमिका निभा रही हैं।
Indian Army की तकनीकी दक्षता को न सिर्फ देश के अंदर बल्कि इंटरनेशनल मंच पर भी सराहना मिली है, खासकर पाकिस्तान के साथ चल रहे सीमा तनाव के बीच।
वैल्यूएशन को लेकर निवेशकों का नया नजरिया
अब निवेशक भारत की रक्षा कंपनियों को सिर्फ एक गवर्नमेंट सप्लायर नहीं, बल्कि एक स्ट्रैटेजिक ग्रोथ सेक्टर के तौर पर देख रहे हैं। कई एनालिस्ट्स मानते हैं कि इन कंपनियों को अब “वाजिब वैल्यूएशन” मिल रहा है।
इनका स्थापित इंफ्रास्ट्रक्चर, स्वदेशी प्रोडक्ट्स की विश्वसनीयता, और नए ऑर्डर्स की उम्मीद इन्हें लंबे समय तक आकर्षक बनाए रखते हैं।
भविष्य की संभावनाएं और चुनौतियाँ
Infomerics Valuation & Ratings के Chief Economist मनोरंजन शर्मा के अनुसार:
“Defence सेक्टर की बड़ी कंपनियाँ भविष्य में भी अच्छा प्रदर्शन कर सकती हैं, लेकिन स्टॉक्स में आगे कितनी तेजी आएगी, यह कई कारकों पर निर्भर करेगा – जैसे नीति निर्णय, अंतरराष्ट्रीय तनाव, और टेक्नोलॉजिकल बदलाव।”
निष्कर्ष
Operation Sindoor एक सिर्फ एक सैन्य कार्रवाई नहीं, बल्कि भारत के रक्षा और तकनीकी सामर्थ्य का प्रदर्शन था। इसके प्रभाव से जुड़ी कंपनियों में आए शेयर उछाल को महज एक ट्रेंड मानना सही नहीं होगा।