तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था
भारत की अर्थव्यवस्था में होगा जबरदस्त उछाल
मॉर्गन स्टेनली की ताजा रिपोर्ट के अनुसार, भारत 2028 तक दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा। वर्तमान में भारत की अर्थव्यवस्था लगातार विस्तार कर रही है और वैश्विक उत्पादन में इसका योगदान बढ़ रहा है। सरकार द्वारा नीतिगत सुधारों, इंफ्रास्ट्रक्चर विकास और डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है, जिससे देश की आर्थिक स्थिरता मजबूत बनी हुई है।
5.7 लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था बनेगा भारत
रिपोर्ट के मुताबिक, 2026 तक भारत की अर्थव्यवस्था 4.7 लाख करोड़ डॉलर (ट्रिलियन) के स्तर को छू लेगी और इस दौरान भारत दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा। इसके बाद 2028 तक भारत जर्मनी को पीछे छोड़ देगा और 5.7 लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था के साथ तीसरे स्थान पर पहुंच जाएगा।
भारत की अर्थव्यवस्था की ऐतिहासिक प्रगति
वर्ष | वैश्विक रैंकिंग |
---|---|
1990 | 12वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था |
2000 | 13वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था |
2020 | 9वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था |
2023 | 5वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था |
2028 | 3वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था (अनुमानित) |
रिपोर्ट के अनुसार, 2029 तक भारत का वैश्विक GDP में योगदान 4.5% तक बढ़ सकता है, जो वर्तमान में 3.5% है।
भविष्य की संभावनाएं तीन अलग-अलग परिदृश्य
मॉर्गन स्टेनली की रिपोर्ट में भारत की आर्थिक वृद्धि के तीन संभावित परिदृश्यों का विश्लेषण किया गया है:
- बेयर स्थिति – यदि विकास दर धीमी रहती है, तो 2035 तक भारत की अर्थव्यवस्था 6.6 लाख करोड़ डॉलर तक पहुंच सकती है।
- मध्यम स्थिति – औसत वृद्धि दर बनाए रखने पर अर्थव्यवस्था 8.8 लाख करोड़ डॉलर तक जा सकती है।
- बुल स्थिति – यदि भारत तेज आर्थिक प्रगति करता है, तो 2035 तक अर्थव्यवस्था 10.3 लाख करोड़ डॉलर तक पहुंच सकती है।
भारत की आर्थिक वृद्धि के प्रमुख कारण
भारत की तेज़ आर्थिक वृद्धि के पीछे कुछ महत्वपूर्ण कारक हैं, जो इसे वैश्विक स्तर पर एक मजबूत अर्थव्यवस्था बना रहे हैं:
1. बढ़ती जनसंख्या और युवा कार्यबल
भारत की युवा और कार्यशील जनसंख्या देश की आर्थिक वृद्धि को तेज कर रही है। अधिक लोग रोजगार और व्यापार में शामिल हो रहे हैं, जिससे GDP में वृद्धि हो रही है।
2. मजबूत लोकतंत्र और राजनीतिक स्थिरता
भारत की लोकतांत्रिक व्यवस्था और स्थिर सरकार निवेशकों के लिए अनुकूल वातावरण तैयार कर रही है। इससे प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) को बढ़ावा मिल रहा है।
3. इंफ्रास्ट्रक्चर और नीतिगत सुधार
सरकार द्वारा सड़कों, रेलवे, हवाई अड्डों और डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर पर बड़े पैमाने पर निवेश किया जा रहा है। साथ ही, आर्थिक सुधारों की मदद से व्यापार और उद्योगों को समर्थन दिया जा रहा है।
4. स्टार्टअप और उद्यमशीलता का विकास
भारत में स्टार्टअप इकोसिस्टम तेजी से फल-फूल रहा है। नई कंपनियों और छोटे उद्योगों को सरकारी योजनाओं का सहयोग मिल रहा है, जिससे रोजगार और निवेश बढ़ रहा है।
5. शिक्षा, स्वास्थ्य और डिजिटल क्रांति
देश में शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार किया जा रहा है। डिजिटल क्रांति के कारण डिजिटल पेमेंट्स, ई-कॉमर्स और टेक्नोलॉजी इंडस्ट्री का विस्तार हो रहा है, जिससे अर्थव्यवस्था को नई ऊर्जा मिल रही है।
निष्कर्ष
मॉर्गन स्टेनली की रिपोर्ट यह दर्शाती है कि भारत आने वाले वर्षों में आर्थिक रूप से बहुत आगे बढ़ने वाला है। 2028 तक भारत तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा और जर्मनी को पीछे छोड़ देगा। नीतिगत सुधार, इंफ्रास्ट्रक्चर विकास और बढ़ती कारोबारी गतिविधियां भारत को वैश्विक आर्थिक मानचित्र पर और मजबूत बनाएंगी।