निफ्टी 50 तीसरी बार 200 DMA के नीचे बाजार में बढ़ा दबाव
भारतीय शेयर बाजार में इस समय गिरावट का दौर जारी है। शुक्रवार को निफ्टी 50 23,500 के नीचे बंद हुआ, जिससे निवेशकों में चिंता बढ़ गई है। यह तीसरी बार है जब निफ्टी 200-Day Moving Average (DMA) के नीचे आ गया है, जो एक महत्वपूर्ण संकेतक है कि बाजार कमजोर हो चुका है।
विदेशी निवेशकों का दबाव बढ़ा
- बाजार पर विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (FPI) का दबाव बढ़ रहा है।
- FPI द्वारा बिकवाली से बाजार में कमजोरी आई है और आगे भी यह दबाव बने रहने की संभावना है।
- यदि निफ्टी 23,300 के लेवल को तोड़ता है, तो बाजार में और अधिक गिरावट देखने को मिल सकती है।
क्या कहते हैं मार्केट एक्सपर्ट?
मार्केट एक्सपर्ट्स का मानना है कि मौजूदा समय में निवेशकों को सावधानी से कदम उठाने की जरूरत है।
- एवरेजिंग से बचें निवेशक इस समय किसी भी स्टॉक में औसत लगाने की गलती न करें।
- स्टॉप लॉस का उपयोग करें हर ट्रेड के लिए स्टॉप लॉस सेट करें, ताकि अधिक नुकसान से बचा जा सके।
- निवेश के लिए इंतजार करें जब तक बाजार में स्थिरता न आए, तब तक नए निवेश से बचें।
निफ्टी के लिए महत्वपूर्ण सपोर्ट और रेजिस्टेंस लेवल
- सपोर्ट लेवल 23,300
- रेजिस्टेंस लेवल 24,000
यदि निफ्टी 23,300 के लेवल को तोड़ता है, तो यह और गिरकर 22,800 के स्तर तक आ सकता है। वहीं, 24,000 के ऊपर बंद होने पर बाजार में कुछ स्थिरता देखने को मिल सकती है।
ट्रेडिंग और निवेश के लिए सुझाव
- शॉर्ट टर्म ट्रेडिंग
इस समय केवल शॉर्ट टर्म ट्रेडिंग करें और हर ट्रेड के लिए स्टॉप लॉस लगाएं। - लॉन्ग टर्म निवेश
लॉन्ग टर्म निवेश के लिए अभी इंतजार करना बेहतर होगा। जब बाजार में स्थिरता आएगी और निफ्टी 24,500 के स्तर के ऊपर टिकेगा, तभी लॉन्ग टर्म निवेश पर विचार करें। - डायवर्सिफिकेशन
पोर्टफोलियो में अधिक जोखिम वाले स्टॉक्स की जगह, ब्लू-चिप स्टॉक्स और डिफेंसिव सेक्टर्स जैसे FMCG और हेल्थकेयर स्टॉक्स को प्राथमिकता दें।