Union Budget 2025 नए टैक्स रिजीम में बदलाव
Union Budget 2025 की उल्टी गिनती शुरू हो चुकी है, और चर्चा जोरों पर है कि इस बार नए टैक्स रिजीम में और अधिक इंसेंटिव दिए जा सकते हैं। सरकार का फोकस ज्यादा से ज्यादा टैक्सपेयर्स को नए टैक्स रिजीम अपनाने के लिए प्रोत्साहित करना है।
नए टैक्स रिजीम को अपनाने वाले टैक्सपेयर्स (AY 2024-25)
वित्त मंत्रालय के अनुसार, असेसमेंट ईयर 2024-25 में 72% टैक्सपेयर्स ने नया टैक्स रिजीम चुना, जबकि केवल 28% टैक्सपेयर्स ने पुराने टैक्स रिजीम को अपनाया।
पिछले बजट में नए टैक्स रिजीम में किए गए प्रमुख बदलाव
1. Budget 2020 नए टैक्स रिजीम की शुरुआत
Budget 2020 में सरकार ने सरल टैक्स स्लैब और लोअर टैक्स रेट्स के साथ नया टैक्स रिजीम पेश किया। हालांकि, इस विकल्प को चुनने पर टैक्सपेयर्स को कई कटौती और छूट छोड़नी पड़ी।
स्लैब और दरें (Budget 2020)
- ₹0-2.5 लाख शून्य
- ₹2.5-5 लाख 5%
- ₹5-7.5 लाख 10%
- ₹7.5-10 लाख 15%
- ₹10-12.5 लाख 20%
- ₹12.5-15 लाख 25%
- ₹15 लाख से ऊपर 30%
2. Budget 2023 डिफॉल्ट बना नया टैक्स रिजीम
2023 में सरकार ने नए टैक्स रिजीम को डिफॉल्ट विकल्प बना दिया। इसके साथ ही, निम्नलिखित बदलाव किए गए:
- ₹7 लाख तक की आय पर टैक्स छूट।
- बेसिक टैक्स छूट सीमा ₹2.5 लाख से बढ़ाकर ₹3 लाख।
- सैलरीड इंडिविजुअल्स और पेंशनर्स के लिए ₹50,000 का स्टैंडर्ड डिडक्शन।
- अधिकतम टैक्स रेट 42.74% से घटाकर 39% किया गया।
स्लैब और दरें (Budget 2023)
- ₹0-3 लाख शून्य
- ₹3-6 लाख 5%
- ₹6-9 लाख 10%
- ₹9-12 लाख 15%
- ₹12-15 लाख 20%
- ₹15 लाख से ऊपर 30%
3. Budget 2024 सैलरीड और पेंशनर्स के लिए अतिरिक्त राहत
Budget 2024 में टैक्सपेयर फ्रेंडली कदम उठाए गए, जिनमें प्रमुख थे:
- स्टैंडर्ड डिडक्शन ₹50,000 से बढ़ाकर ₹75,000 कर दिया गया।
- NPS डिडक्शन की सीमा प्राइवेट सेक्टर कर्मचारियों के लिए 14% तक कर दी गई।
- फैमिली पेंशन के लिए स्टैंडर्ड डिडक्शन ₹15,000 से बढ़ाकर ₹25,000 कर दिया गया।
स्लैब और दरें (Budget 2024)
- ₹0-3 लाख शून्य
- ₹3-7 लाख 5%
- ₹7-10 लाख 10%
- ₹10-12 लाख 15%
- ₹12-15 लाख 20%
- ₹15 लाख से ऊपर 30%
Budget 2025 से संभावित उम्मीदें
-
स्टैंडर्ड डिडक्शन में और वृद्धि
वित्तीय विशेषज्ञों का मानना है कि सैलरीड कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए स्टैंडर्ड डिडक्शन ₹1 लाख तक बढ़ाया जा सकता है। -
मिड-इनकम ग्रुप के लिए राहत
₹7 लाख से ₹12 लाख की आय वाले टैक्सपेयर्स को राहत देने के लिए स्लैब में बदलाव हो सकता है। -
NPS में और छूट
प्राइवेट सेक्टर कर्मचारियों के लिए NPS डिडक्शन की सीमा को 14% से बढ़ाकर 16% किए जाने की उम्मीद है। -
टैक्स ऑडिट की सीमा में बढ़ोतरी
छोटे और मझोले कारोबारों के लिए टैक्स ऑडिट की सीमा ₹5 करोड़ से बढ़ाकर ₹10 करोड़ की जा सकती है। -
राजकोषीय घाटा
सरकार राजकोषीय घाटे को नियंत्रित रखते हुए विकास योजनाओं में अधिक निवेश करने पर जोर दे सकती है।